Featured Posts

header ads

बचपन के कुछ ख्वाब पड़े हैं आंखों में


#3

बचपन के कुछ ख्वाब पड़े हैं आंखों में
बचपन के कुछ सांस पड़े है सांसों में
बचपन के कुछ आस पड़े हैं सपनों की
बचपन के कुछ याद पड़े हैं अपनों की
बचपन के कुछ भुल भी स्मरण हैं स्वयं की
बचपन के कुछ जख्म भी स्मरण हैं अपनों की
बचपन के कुछ सीख दोहरा रही जीवन ने
बचपन के कुछ प्रेम का अंतर भी देखा जीवन ने
बचपन के कुछ असंख्य साथ थे अपनों के
बचपन के वो दुलार भी दोहराया नन्हों संग हम सबने 
बचपन के कुछ याद पड़े हैं दुलार करने वालों के 
उनका सम्मान हम सभी को करना है






Post a Comment

0 Comments